सब रंग एक संग
हम साथ हैं तो ज़िंदगी की हर ख़ुशी मिली
यारों मेरे सौगात मुझको ये हसीं मिली
साहिल की रेत में जो था वो ढूँढता सीपी
रोशन मीनारें जिनको था बस दूर से देखा
उनकी भी इस नाचीज़ को शागिर्दगी मिली
लहरों में हाथ थाम कर खडे हुए थे जब
सुबह मुझे वो जिन्दगी की बेहतरीं मिली
मुश्किल था हाँ बेशक जो वक़्त दर्द में गया
रफ़्तार उसको पर तुम्हारे साथ से मिली
दिल को जो राह दिल से हो तो फासलों से क्या
बस न कहना मुझे तेरी चिट्ठी नही मिली
यारों मेरे सौगात मुझको ये हसीं मिली
साहिल की रेत में जो था वो ढूँढता सीपी
इक रात उसको आसमान की परी मिली
रोशन मीनारें जिनको था बस दूर से देखा
उनकी भी इस नाचीज़ को शागिर्दगी मिली
लहरों में हाथ थाम कर खडे हुए थे जब
सुबह मुझे वो जिन्दगी की बेहतरीं मिली
मुश्किल था हाँ बेशक जो वक़्त दर्द में गया
रफ़्तार उसको पर तुम्हारे साथ से मिली
दिल को जो राह दिल से हो तो फासलों से क्या
बस न कहना मुझे तेरी चिट्ठी नही मिली
1 comment:
last line touch kar gayi re !!!!!!
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